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पति ने छोड़ा तो खुद ई-रिक्शा चलाने लगी महिला, बच्चों को बनाना चाहती है डॉक्टर-इंजीनियर

Pinky Devi Success Story: भारतीय समाज में पैसों संबंधी हर छोटी बड़ी जरूरत को पूरा करने के जिम्मेदारी पुरुषों की मानी जाती है, जबकि महिलाएं घर संभालने का काम करती हैं। ऐसा करके पति पत्नी अपनी जिम्मेदारियों को आधा आधा बांट लेते हैं और उनकी जीवन रूपी गाड़ी आराम से चलती रहती है।

हालांकि कुछ कपल्स की शादी ज्यादा लंबे समय तक नहीं चल पाती है, जिसकी से पति पत्नी अलग हो जाते हैं। ऐसे में तलाक के बाद कुछ महिलाओं को आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ता है, क्योंकि उनके पास घर खर्च चलाने के लिए आय का स्त्रोत नहीं होता है। ऐसा कुछ हुआ था पिंकी देवी के साथ, जो अपना घर चलाने के लिए ई-रिक्शा चलाती हैं।

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ई-रिक्शा चलाती हैं पिंकी देवी

बिहार (Bihar) के भागलपुर (Bhagalpur) जिले से ताल्लुक रखने वाली पिंकी देवी (Pinky Devi) एक ई-रिक्शा चालक हैं, जिनकी शादी अमरजीत शर्मा नामक व्यक्ति से हुई थी। शादी के बार पिंकी और अमरजीत के 4 बच्चे हुए, जिसमें 2 बेटे और 2 बेटियां शामिल हैं। इसके अलावा पिंकी के सास ससुर भी उनके साथ ही रहते हैं, जिसकी वजह से परिवार का खर्च चलाना थोड़ा मुश्किल हो जाता था।

दरअसल अमरजीत शर्मा की आर्थिक स्थिति ज्यादा अच्छी नहीं थी और न ही उनके पास खेती करने के लिए पर्याप्त जमीन थी, ऐसे में अमरजीत छोटी मोटी नौकरी करके घर का खर्च चलाता था। इसके अलावा वह कभी कभी लोगों से पैसे उधार भी ले लेता था, जिसकी वजह से अमरजीत के सिर पर कर्ज का बोझ बढ़ता जा रहा है।

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अमरजीत के पास उधारी चुकाने के लिए पैसे नहीं थे, लिहाजा वह इस परेशानी से बचने के लिए घर छोड़कर भाग गया। उसने न तो पिंकी के बारे में सोचा और न ही अमरजीत को अपने बूढ़े माता-पिता व बच्चों का ख्याल आया, जिसकी वजह से घर की सारी जिम्मेदारी पिंकी देवी (Pinky Devi) के कंधों पर आ गई थी।

पिंकी देवी (Pinky Devi) ज्यादा पढ़ी लिखी नहीं है, लिहाजा उन्होंने इलाके में ई-रिक्शा चलाने का काम शुरू कर दिया। ई-रिक्शा चलाने से पिंकी हर दिन 500 से 800 रुपए की कमाई करती हैं, जिसके जरिए वह अपने घर की जरूरतों को पूरा करती हैं और बच्चों की पढ़ाई लिखाई पर विशेष ध्यान देती हैं।

ई-रिक्शा चलातीं पिंकी देवी!

बच्चों को बनाना चाहती है अफसर

पिंकी ने कहा, “मैं नहीं पढ़ सकी तो क्या हुआ, बच्चों को पढ़ाऊंगी। पैसे की दिक्कत होने के चलते मैं अपने सपने पूरे नहीं कर पाई लेकिन बच्चों के सपने पूरा कराऊंगी। बच्चों को बेहतर शिक्षा दिलाकर काबिल बनाऊंगी और उनको डॉक्टर-इंजीनियर व अफसर बनाऊंगी।

महिलाओं के लिए हैं प्रेरणा स्रोत

गांव की महिलाएं लेडी ई-रिक्शा चालक पिंकी देवी (Pinky Devi) की फैन हो गई हैं। वो पिंकी को अपना आदर्श मानती हैं। उनका कहना है कि पिंकी को जब भी देखती हूं उनसे हमें प्रेरणा मिलती है। उनकी आत्मनिर्भरता हम सभी के लिए अच्छा जीवन जीने का एक जरिया है।

ई-रिक्शा चलातीं पिंकी देवी!

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Abhishek Kumar Verma
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